(श्याम चौरसिया )
पीला सोना सोयाबीन की कटाई करके खलियानों तक पहुचाने के लिए इन दिनों लाखो युवक,युवती,महिलाएं,पुरुष कमर तोड़ पसीना बहा रहे है। क्वार की कड़क,तीखी धूप और मौसम के बेईमान मिजाज को चुनोती देने के लिए लुटे पीटे सोयाबीन उत्पादको ने सब कुछ दाव पर लगा दिया। हालात ये हे कि कटाई के लिए 400-500 में लेबर मिल रही है। ठेकेदार अभी 02 हजार रुपया बीघा में कटाई का सोदा करके खेती को महंगा बनाने में योग दे रहे है। नबरात्री उत्सव के बाबजूद युद्ध स्तर पर जारी कटाई महोत्सव की वजह से बाजारों में सन्नाटा पसर चुका है। किराने की दूकानों, वाहनों के शो रूम्स को छोड़ बाकी दुकानों से ग्राहक लापता है। यही गत शालाओं की है। किशोर उम्र के विद्यार्थी भी स्कूल तज सोयाबीन कटाई महोत्सव में जम कर भागीदारी निभा रहे है। नतीजन कक्षाएं सूनी। कटाई महोत्सव दशहरे तक सम्पन्न हो जाने के बाद ही बाजारों,स्कूलों की रंगत लौटेगी।इसके पहले नही।
मालवा,निमाड़ में कटाई के लिए चंबल तक की लेबर ने डेरा डाल रखा है।इसके सलवाबपनजब,हरियाणा, राजस्थान के हार्डवेस्टर बड़ी संख्या कटाई में योग दे रहे है। जिनके खेत सुख चुके है। वे मज़दूरोबकी बजाय हार्डवेस्टर से कटाई करवा समय ओर धन बजा रहे है।
जारी बारिश से खेत गीले होने की वजह से हार्टवेस्टर ओर कटाई मशीनों का दाव नही लग पा रहा है। सिंचाई के माकूल साधन ओर बडी जोत वाले खेत सूखने का इंतजार कर रहे है। ताकि हार्डवेस्टर चलवा कर समय और धन बचाया जा सके।वे महंगी मजदूरी से दूरी बना अधिक लाभ की उम्मीद रखते है।
इस साल गत साल की तुलना में सोयाबीन को निरोगी रखने के लिए किसानों को 04 बार महंगे कीट नाशको का उपयोग करना पड़ा। इसके बाबजूद सोयाबीन का उत्पादन बुरी तरह सेगच्चा दे किसानों की उम्मीदों पर फेर गया। दाना भी छोटा रह गया।
पिछले साल की तुलना में उत्पादन 80% से अधिक कम हो सकता है। लागत और मेहनत तक निकलने से किसान पीले सोने के मोह को कोसने लाचार, बेबस है
सरकार की किसान हितैसी कसरतों के बाबजूद अभी सोयाबीन के भाव समर्थन मूल्य 4895 से 01 हजार से भी ज्यादा कम है। जबकि पिछले 10 दिनों में सोयाबीन तेल के भाव 20-30 रुपये उछल आम उपभोक्ताओं की कमर तोड़ रहे है। हलाकि भाव अभी भी 2014 की तुलना में 20 रुपये लीटर कम है। 21-22 में 180-190 लीटर तक चढ़ गए थे। अगस्त 05 सितम्बर 24 में 95 रुपये लीटर तक आ चुके थे।मगर अब 120 रुपये लीटर के आसपास आ चुके थे।
सत्तारूढ़ बीजेपी ने भी सोयाबीन की भारी तबाही कबूल सर्वे जारी है। 40℅ से अधिक की कटाई हो चुकी है।